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Big Breaking: टैक्सी ड्राइवर के घर ED की रेड; क्रिप्टो करेंसी से जुड़े मामले में छानबीन

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Big Breaking: टैक्सी ड्राइवर के घर ED की रेड; क्रिप्टो करेंसी से जुड़े मामले में छानबीन

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Taxi Driver House ED Raid
Taxi Driver House ED Raid

Fake Crypto Currency Case, सोनीपत: हरियाणा के सोनीपत जिले के मयूर विहार में एनफोर्समेंट डायरेक्टोरेट (ED) ने शुक्रवार को एक टैक्सी ड्राइवर के निवास पर छापेमारी की। यह छापेमारी फेक क्रिप्टो करेंसी से जुड़े मामले की जांच के तहत की गई। सुबह 8 बजे से शुरू हुई इस कार्रवाई में ईडी की टीम ने कई घंटों तक जांच की। छानबीन के दौरान पुलिस ने सुरक्षा के इंतजाम किए और आसपास के लोग उत्सुकतावश घर के बाहर जमा हो गए।

ईडी की कार्रवाई और छानबीन

जानकारी के अनुसार, छापेमारी रमेश गुलिया के घर पर की गई, जो एक साधारण टैक्सी ड्राइवर हैं। रमेश गुलिया का भाई नरेश गुलिया विदेश में रहता है और क्रिप्टो करेंसी का काम करता है। ईडी की टीम ने रमेश गुलिया से पूछताछ की और घर की तलाशी ली। यह मकान नरेश गुलिया का है, लेकिन रमेश गुलिया इस मकान में रहते हैं।

व्यक्तिव्यवसायस्थान
रमेश गुलियाटैक्सी ड्राइवरमयूर विहार, सोनीपत
नरेश गुलियाक्रिप्टो करेंसीविदेश में स्थित

क्रिप्टो करेंसी घोटाले का शक

इस छापेमारी की खबर ने स्थानीय लोगों में उत्सुकता पैदा कर दी है, क्योंकि एक साधारण टैक्सी ड्राइवर के घर पर ईडी की रेड होना असामान्य घटना है। सूत्रों के अनुसार, जांच का केंद्र बिंदु फेक क्रिप्टो करेंसी से जुड़ा हुआ है। यह मामला तब और गंभीर हो गया जब पता चला कि रमेश गुलिया के भाई नरेश, जो कि पूर्व सैनिक हैं, का संबंध क्रिप्टो करेंसी के व्यवसाय से है।

नरेश गुलिया: पूर्व सैनिक से क्रिप्टो करेंसी व्यवसायी

नरेश गुलिया, जो कि 1995 में भारतीय सेना में भर्ती हुए थे, अब विदेश में रहते हैं। उनकी ट्रेनिंग जबलपुर में हुई थी और सेना में 15 साल की सेवा के बाद उन्होंने VRS ले लिया। नरेश के क्रिप्टो करेंसी व्यवसाय में शामिल होने की खबर से मामला और पेचीदा हो गया है। लोगों को हाल ही में पता चला कि नरेश विदेश में रहते हैं और उनका व्यवसाय क्रिप्टो करेंसी से जुड़ा है।

बाहरी लिंक: क्रिप्टो करेंसी घोटाले

पुलिस और ईडी की सतर्कता

मयूर विहार में छानबीन के दौरान पुलिस और ईडी की टीमें सतर्क रहीं। आसपास के लोग इस छापेमारी के अंत का इंतजार कर रहे हैं ताकि मामले की पूरी जानकारी मिल सके। ईडी की टीम ने रमेश गुलिया से गहन पूछताछ की और उनके भाई नरेश गुलिया के क्रिप्टो करेंसी से जुड़े संदिग्ध व्यवसाय के बारे में जानकारी जुटाई।

इस छापेमारी के बाद स्थानीय लोगों में इस मामले को लेकर कई सवाल उठे हैं। क्या रमेश गुलिया इस मामले में शामिल हैं या केवल उनके भाई नरेश का ही इस घोटाले से संबंध है, यह जांच के बाद ही स्पष्ट हो सकेगा। फिलहाल, ईडी और पुलिस की टीमें मामले की तह तक जाने की कोशिश कर रही हैं।

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